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बुरहानपुर की जमात में 40 दिन तक रहे 11 लोगों को बिना जांच के एंबुलेंस में बिठाकर चुपके से उज्जैन लाया
उज्जैन. घटना 30 मार्च की, जिला अस्पताल के कर्मचारी ने शहर को खतरे में डाला पुलिस ने वाहन प्रभारी पर महामारी अधिनियम की धाराओं में दर्ज किया केस जानकारी के बाद जमात से लौटे लोगों काे थाने बुलवाकर परीक्षण कराया गया
बुरहानपुर की जमात में 40 दिन शामिल रहने के बाद 11 लोगोंं के चुपके से उज्जैन आना का मामला सामने आया। जिला अस्पताल का कर्मचारी उन्हें सरकारी एंबुलेंस में छुपाकर टोल नाके से लाया, पुलिस देख नहीं सकी फिर बगैर स्वास्थ्य परीक्षण के रात में ही सभी को घर भिजवा दिया। गुरुवार रात यह जानकारी लगते ही पुलिस ने जिला अस्पताल की वाहन शाखा के प्रभारी सरफराज के खिलाफ महामारी अधिनियम की धाराओं में केस दर्ज कर लिया।
जीप से निनौरा तक, पैदल टोल के पार और वहां पहुंच गई थी, उज्जैन के जिला अस्पताल की एंबुलेंस
घटना 30 मार्च की है। उज्जैन के नागौरी मोहल्ला, तोपखाना, महिदपुर समेत नीमच के 11 लोग बुरहानपुर के तरबवाड़ा में जमात खत्म होने पर जीप से इंदौर रोड स्थित निनौरा नाके तक पहुंचे। यहां से जीप को वापस भिजवा दिया। इसके बाद जिला अस्पताल में पदस्थ सरफराज को फोन लगाकर मदद मांगी। वह से उज्जैन की तरफ बुलवाने के बाद एंबुलेंस में बैठाकर जिला अस्पताल लाया। यहां सभी को उतारने के बाद अलग-अलग साधन से घर भिजवा दिया। घटना के बारे में कोतवाली थाना की सूचना संकलन टीम के आरक्षक भुवनेश व महिला आरक्षक नीलिमा पंवार को पता चला तो दोनों ने सीएसपी पल्लवी शुक्ला को जानकारी दी। गुरुवार शाम पुलिस एंबुलेंस के ड्राइवर तक पहुंची और सभी लोगों को थाने बुलवाया। टीआई सतनामसिंह ने बताया कि नौ लोग थाने बुलवाया, जिनका जिला अस्पताल की टीम से परीक्षण कराया है। रिपोर्ट आने पर स्थिति स्पष्ट होगी। ड्राइवर भगवान की रिपोर्ट पर जिला अस्पताल की वाहन शाखा प्रभारी सरफराज के खिलाफ धारा-188 समेत महामारी अधिनियम 1897 के तहत केस दर्ज कर लिया है।
सरफराज को पता था पुलिस कभी भी एंबुलेंस रोकेगी नहीं
जिला अस्पताल के वाहन शाखा प्रभारी सरफराज ने अपने रिश्तेदार व परिचित के लिए सरकारी एंबुलेंस का उपयोग किया। उसे पता था कि एंबुलेंस को पुलिस रोकेगी नहीं इसलिए उसने टोल नाका तक रिश्तेदारों को दूसरी गाड़ी से बुलवाया और फिर पैदल टोल के पार बुलवाकर एंबुलेंस से लेकर उज्जैन आ गया। इस दौरान वह परिचित व रिश्तेदाराें को अस्पताल में लेकर भी घूमता रहा जिसके खिलाफ केस दर्ज कर गिरफ्तार करने के निर्देश दिए हैं।
… और इधर दो जगह से पकड़े गए 19 बाहरी
- दिल्ली से आए…नलखेड़ा की मस्जिद में 23 दिनों से पहचान छुपाकर रह रहे 12 लोगों को पुलिस ने छापा मारकर पकड़ा। इन लोगों की जांच की गई। पुलिस ने इन्हें रामपुरा मोहल्ला स्थित छात्रावास में अस्थाई कैंप बनाकर क्वारेंटाइन किया है। मामले में प्रशासन को सूचना नहीं देने वाले मस्जिद के संचालक पर भी पुलिस ने प्रकरण दर्ज किया है। एसपी मनोज कुमार सिंह ने बताया ये सभी दिल्ली से भोपाल और वहां से नलखेड़ा पहुंचे हैं।
- इंदौर से आए…गुरुवार देर रात मक्सी के ग्राम गडरोली में 7 संदिग्ध लोग मिले। ये सभी इंदौर के खजराना से आए थे और अपने रिश्तेदार के घर में रुके थे। मक्सी टीआई आदित्य तिवारी ने बताया कि मजीद पिता अजमेरी खां ने सातों को अपने घर में रुकवाया था। इनमें 4 पुरुष, दो महिलाएं, ओर एक बच्ची शामिल थी। सभी को देर रात वापस इंदौर भेजा गया है। नायब तहसीलदार संदीप इवने ने कहा मकान मालिक पर केस दर्ज करेंगे।
- पोखरण से 177 मजदूर लौटे : राजस्थान के पोखरण से आ रहे 177 मजदूरों को प्रशासन ने गुरुवार शाम बड़नगर के अस्थायी कैंप में रोका। सुबह सभी का चेकअप होगा। ये लोग मजदूरी करने गए थे। राजस्थान प्रशासन ने एमपी की सीमा के चेकपोस्ट पर छोड़ दिया था।